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आँख की संरचना और इसके भाग

आँख की संरचना और इसके भाग

Aankh ki Sanrachna in Hindi – आज हम आपको इस पोस्ट में एक बहुत ही बढ़िया और महत्वपूर्ण चीज के बारे में जानकारी चाहिए यह जानकारी हम सभी के लिए जानना बहुत ही जरूरी है चाहे वह छोटा हो बढ़ा हो या कोई भी इंसान हो सभी के लिए जानकारी बहुत ही जरूरी है.जैसा कि किसी भी इंसान के लिए किसी जानवर या पक्षी के लिए उसकी आंख उसका सब कुछ होता है. और आप किसी भी जानवर इंसान या पक्षी की महत्वपूर्ण चीज होती है.

उसके बिना उसकी जिंदगी में बिल्कुल अंधेरा होता है. अगर कोई आदमी अंधा है. तो उसको शायद दुनिया की सबसे ज्यादा दिक्कत होती होगी तो आज हम आपको इस पोस्ट में बताएंगे कि हमारी आंख किस किस चीज से मिलकर बनी है और हमारी आंखों में कौन कौन से रोग उत्पन्न होते हैं और उनसे कैसे बचा जाता है और हमारे आंखों के कितने भाग होते हैं. इन सभी के बारे में हम आज आपको पूरी जानकारी विस्तार से इस पोस्ट में देंगे तो आप इसको अच्छी तरह से पढ़ाई तो देखिए.

आंख किससे बनी होती

पहले हम बात करते हैं आंख किससे बनी होती है.आंख तीन चीजों से मिलकर बनी है. जेली, मांसपेशियां और प्रोटीन इन तीनों चीज से मिलकर हमारी आंख बनी हुई है. अगर बात की जाए इसका सबसे महत्वपूर्ण भाग कौन सा होता है जो रोशनी को नियंत्रित करता है.सूर्य से आने वाली रोशनी सबसे पहले हमारी आंख के महत्वपूर्ण भाग कॉर्निया के ऊपर पड़ती है. और कॉर्निया के ऊपर लाइट पड़ने के बाद जब अंदर जाती है. तो हमारी आंख का एक-एक अलग-अलग कलर होता है. तो कलर वाला भाग होता है. उसे हम  Iris कहते हैं.

Iris

Iris हमारी आंखों को सूर्य से आने वाली रोशनी से बचाने का काम करता है. जब सूर्य से बहुत ज्यादा रोशनी हमारी आंखों के ऊपर गिरती है. तो यह उस रोशनी को अपने और अवशोषित कर लेता है. और हमारी आंखों को बचाए रखता है.और अगला पार्ट anterior chamber आता है. और फिर इसके बाद उसका दूसरा पार्ट pupil आता है. pupil यह हमारी आंख का एक काले रंग का पार्ट होता है. और यह सभी के आंखों में काले कलर का ही होता है. जब हमारे आंखों पर सूर्य की रोशनी पड़ती है और हमारी आंख के अंदर जाती है और इसी के माध्यम से लंच के अंदर से हमारे नेत्रों की रेटिना पर पडती है.

Pupil

अगर देखा जाए तो यह मांसपेशियों का बना होता है. और यह अगर सूर्य के प्रकाश ज्यादा है तो मांसपेशियां सिकुड़ जाती है. ताकि आपके आंखों के लेंस को नुकसान बहुत ही कम पहुंचे या बिल्कुल भी ना पहुंचे जब बहुत ही अंधेरा या रात का समय होता है. तो प्रकाश हमारी आंखों तक नहीं पहुंच पाता है तो उसमें इन की मांसपेशियां फैल जाती है यानी कि उनका काम अपना साइज़ बड़ा और छोटा करना होता है और इसके बाद जब हम Pupil से आगे जाते हैं तो लेंस का पार्ट आता है.

लेंस

लेंस के बारे में तो आपने पहले भी पढ़ा हुआ. लेकिन लेंस का मुख्य काम यह प्रकाश की रोशनी को हमारे रेटिना के ऊपर बनाता है. तो यह लेंस का मुख्य काम होता है. यह हमारे प्रकाश की रोशनी के ऊपर फोकस करवाता है. और उसके बाद हमारा आंख का लेंस जिन मांसपेशियों से जुड़ा होता है.तो उसको suspensory  ligaments कहते हैं यह लेंस के साथ जुड़ा होता है.

उसके बाद जैसे ही आप आगे अंदर जाते हैं. उसके अंदर आँखों का जो सफेद रंग का आइकॉन होता है. उस सफेद  रंग के आइकॉन को vitreous chamber कहते है. और इसके अंदर vitreous जैल भरा होता है. और यह हमारी आंखों को एक पर्टिकुलर आकार देता है. इसके बाद हमारी आंख का अगला भाग रेटिना होता है.

Retina

आंख का जो पहला भाग होता है. यानी पहली सतह होती है. और जिस पर जो भी हमारा प्रतिबिंब बनता है. वह रेटिना कहलाता है. रेटिना दो भागों में बटा हुआ है जो पहला भाग होता है. हमारा जो लेंस के बिल्कुल सामने होता है. वह cones कहलाता है. और इसका दूसरा पार्ट Rods कहलाता है. Rods का काम आंखों में कलर को redact करना होता है. जो हमारी आंखे कलर को redact करती है.तो Rods का जो भाग होता है. तो यह तीन कलर को Rods करता है. Black white Grey और इसके अलावा इसका दूसरा cones वाला भाग जो होता है वो सभी कलर को redact करता है. सिर्फ Black, white, Grey को छोड़कर.

मान लीजिए अगर सूर्य की रोशनी सीधी हमारी आंखों पर आ रही है. तो पीपल से होते हुए लंच पर जाएगी और लंच के बाद सीधा को रेटिना पर जाता है. और फिर उसके बाद हमारे रेटिना के ऊपर प्रतिबिंब बनते हैं. और यदि रोशनी बहुत तेज है. तो सीधा cones के उपर जायगी. और उस प्रकाश को डिटेक्ट करने का काम cones करेगा. लेकिन जहां पर बिल्कुल कम प्रकाश होगा या अंधेरा होगा तो उस समय डिटेक्ट करने का काम Rods करेगा. उसके बाद हमारी आंख का अगला भाग Optic Nervous होता है.

Optic Nervous

जब हमारे लिए इतना के ऊपर प्रतिबिंब बनता है. वह बने हुए प्रतिबिंब को हमारी आँख की कुछ तंत्रिका तंत्र या  कुछ मांसपेशियों की सहायता से हमारे दिमाग के साथ जोड़ता है. और यह सभी तंत्रिका तंत्र हमारे आंख के रेटिना पर बना प्रतिबिंब का सिग्नल दिमाग तक भेजने का काम करती है.Optic Nervous की अगर बात की जाए.और इसमें एक लाख कोशिका तंत्र होती है. जो सीधा हमारे दिमाग के साथ जुड़ी होती है. हमारी आंख एक कैमरे की तरह काम करती है.और उसका जो प्रतिबिंब यानी जो कैमरे के अंदर वीडियो बनती है. उस तरह से वह सीधा हमारे दिमाग तक जाता है.

दृष्टि दोष

कई बार हमारी आंखों में किसी न किसी पार्ट में गई तरह के अलग-अलग दोष आ जाते हैं. जिससे हमारी आंखें खराब हो जाती है. तो वे  कौन-कौन से दोस होते हैं. जो हमारी आँखों में आ सकते हैं. और उनको कैसे पहचाना जाता है. क्योंकि कई बार बहुत से लोगों की आंखों में ऐसी दिक्कत आ जाती है किसी को दूर की चीज दिखाई नहीं देती है किसी को पास की चीजें दिखाई नहीं देती है. किसी को बिल्कुल ही नजदीक की चीजें दिखाई नहीं देती है. तो उनको हम क्या क्या कहते हैं.

निकट दृष्टि दोष किसे कहते हैं

जब यह दोष हमारी आंखों में आता है तो हमें निकट की चीजें दिखाई देती है. लेकिन हमें दूर की वस्तुएं दिखाई नहीं देगी. और इस चीज को ठीक करने के लिए ठीक तरीके से देखने के लिए हम अवतल लेंस का इस्तेमाल करते हैं.

दूर दृष्टि दोष किसे कहते हैं

दूर दृष्टि दोष में हमें दूर की चीजें अच्छे से दिखाई देगी लेकिन नजदीक की चीजें दिखाई नहीं देती है. और दूर दृष्टि दोष को दूर करने के लिए या इससे छुटकारा पाने के लिए उत्तल लेंस का इस्तेमाल किया जाता है.

इस पोस्ट में आपको मानव आंख की संरचना आँख की बीमारी मनुष्य की आँख में किसी वस्तु का प्रतिबिम्ब बनता है मानव नेत्र के कार्य मानव नेत्र का नामांकित चित्र आंख भागों और कार्यों मानव नेत्र इन हिंदी आंख से हम क्या क्या कर सकते हैं? आंख खराब क्यों होता है? आंख में कौन सा द्रव होता है? आंख कितने मेगापिक्सल होता है? मनुष्य की आंखों के लिए सबसे अच्छा प्रकाश किस रंग का होता है eye parts and functions human eye structure and function से संबंधित पूरी जानकारी देने की कोशिश की गई है अगर अभी भी इसके बारे में आपको कोई भी सवाल या सुझाव हो तो नीचे कमेंट करें और अगर यह जानकारी आपको फायदेमंद लगे तो अपने दोस्तों के साथ शेयर करें.

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One Comment

  1. Sir bhut h mst h ap ne bhut sari problem dur kr di bhut bana wala thanks or sir aage hi hamri help kre aj h muje exam me q aaya r
    Tha isse

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